प् रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि लोकमाता देवी अहिल्याबाई राष्ट्र निर्माण में नारी शक्ति के अमूल्य योगदान का प्रतीक हैं। समाज में बड़ा परिवर्तन लाने वाली लोकमाता देवी अहिल्या को श्रद्धापूर्वक नमन करते हुए प्रधानमंत्री श्री मोदी ने देवी अहिल्या के प्रेरक कथन "जो कुछ भी हमें मिला है वह जनता द्वारा दिया ऋण है- जिसे हमें चुकाना है" का स्मरण किया। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार लोकमाता अहिल्याबाई के इन्हीं मूल्यों पर चलते हुए कार्य कर रही है, "नागरिक देवो भवः" वर्तमान में गवर्नेंस का मंत्र है। लोकमाता देवी अहिल्याबाई की 300वीं जयंती, सभी देशवासियों के लिए प्रेरणा और राष्ट्र निर्माण के लिए हो रहे भागीरथी प्रयासों में अपना योगदान देने का अवसर है। देवी अहिल्याबाई का मानना था कि "जनता की सेवा और उनके जीवन में सुधार लाना ही शासन का उद्देश्य है", उनकी इस सोच को आगे बढ़ाने के लिए हमारी सरकार प्रतिबद्ध है। हमारी सरकार वूमेन लेड डेवलपमेंट के विजन को विकास की धुरी बना रही है, सरकार की हर बड़ी योजना के केंद्र में माताएं- बहने -बेटियां हैं। देश में गरीबों के लिए चार करोड़ घर बनाए जा चुके हैं और इनमें से अधिकतर घर माता -बहनों के नाम पर हैं, वे पहली बार घर की मालकिन बनी हैं। सरकार हर घर तक नल से जल पहुंचा रही है, माता-बहनों को असुविधा न हो और बेटियां पढ़ाई लिखाई में ध्यान दे सकें, इस उद्देश्य से बिजली, उज्जवला गैस भी उपलब्ध कराई गई हैं। यह सुविधाएं माता बहनों के सम्मान का विनम्र प्रयास है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर के 300वीं जयंती वर्ष के अवसर पर भोपाल में जम्बूरी मैदान पर महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन को संबोधित कर रहे थे।