19-Oct-2023 08:15 PM
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मुंबई, 19 अक्टूबर (संवाददाता) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने में कौशल विकास पहल के योगदान को रेखांकित किया। श्री मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए महाराष्ट्र में 511 प्रमोद महाजन ग्रामीण कौशल्य विकास केंद्रों का शुभारंभ कर रहे थे।
महाराष्ट्र के 34 ग्रामीण जिलों में स्थापित, ये केंद्र ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित करेंगे। कार्यक्रम में अन्य लोगों के अलावा महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उप मुख्यमंत्री देवेन्द्र फड़णवीस और अजीत पवार भी जुड़े थे।
श्री मोदी ने अपने संबोधन के प्रारंभ में कहा कि आज नवरात्र का 5वां दिन है। इस दिन स्कंद माता की पूजा की जाती है। उन्होंने कहा कि हर मां अपने बच्चों के लिए खुशी और सफलता की कामना करती है। उन्होंने कहा यह कामना केवल शिक्षा और कौशल विकास से ही संभव बनाया जा सकता है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने में कौशल विकास का बड़ा महत्व है। उन्होंने कहा, “सरकार की कौशल विकास पहल का सबसे बड़ा लाभार्थी गरीब, दलित, पिछड़े और आदिवासी परिवार हो रहे हैं। महिलाओं की शिक्षा और प्रशिक्षण पर सरकार के जोर देने के पीछे प्रेरणास्रोत सावित्री बाई फुले हैं।”
श्री मोदी ने कहा, “सरकार ने कौशल विकास की आवश्यकता को समझा और अपने स्वयं के बजटीय आवंटन और कई योजनाओं के साथ एक अलग मंत्रालय बनाया।” उन्होंने यह भी कहा कि पीएम विश्वकर्मा पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को सशक्त बनाएगी।
श्री मोदी ने प्रमोद महाजन ग्रामीण कौशल्य विकास केंद्रों के उद्घाटन को लाखों युवाओं के कौशल विकास के लिए एक बड़ा कदम बताया। उन्होंने कहा कि विश्व स्तर पर कुशल भारतीय युवाओं की मांग बढ़ रही है। कई देशों की जनसांख्यिकी में बढ़ती आयु के लोगों का अनुपात ऊंचा होने के रुझान का उल्लेख करते हुए प्रधानमंत्री ने एक अध्ययन का उल्लेख किया जिसमें कहा गया है कि 16 देशों ने लगभग 40 लाख कुशल युवाओं को रोजगार प्रदान करने की योजना बनाई है। प्रधानमंत्री ने कहा, “भारत सिर्फ अपने लिए ही नहीं बल्कि दुनिया के लिए कुशल पेशेवर तैयार कर रहा है।” उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में कौशल केंद्र स्थानीय युवाओं को वैश्विक नौकरियों के लिए तैयार करेंगे और उन्हें निर्माण, आधुनिक खेती, मीडिया और मनोरंजन और इलेक्ट्रॉनिक्स में कौशल प्रदान करेंगे। प्रधानमंत्री ने बुनियादी विदेशी भाषा कौशल, भाषा व्याख्या के लिए एआई टूल का उपयोग जैसे सॉफ्ट स्किल में प्रशिक्षण प्रदान करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया, जो उन्हें भर्तीकर्ताओं के लिए और अधिक आकर्षक बनाएगा।
प्रधानमंत्री ने बताया कि पिछली सरकारों में लंबे समय तक कौशल विकास के प्रति दूरदर्शिता और गंभीरता की कमी थी, जिसके परिणामस्वरूप कौशल की कमी के कारण लाखों युवाओं के लिए नौकरी के अवसर कम हो गए। उन्होंने रेखांकित किया कि वर्तमान सरकार ने कौशल विकास की आवश्यकता को समझा और अपने स्वयं के बजटीय आवंटन और कई योजनाओं के साथ इसके लिए समर्पित एक अलग मंत्रालय बनाया। उन्होंने बताया कि कौशल विकास योजना के तहत एक करोड़ 30 लाख से अधिक युवाओं को कई विशेषताओं के तहत प्रशिक्षण प्रदान किया गया है, जबकि पूरे देश में सैकड़ों से अधिक प्रधानमंत्री कौशल केंद्र स्थापित किए गए हैं।
एक सरकारी विज्ञप्ति के अनुसार ग्रामीण कौशल्या विकास केंद्र ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित करेंगे। प्रत्येक केंद्र में कम से कम दो व्यावसायिक पाठ्यक्रमों में लगभग 100 युवाओं को प्रशिक्षित किए जाएंगे। प्रशिक्षण राष्ट्रीय कौशल विकास परिषद के तहत सूचीबद्ध उद्योग भागीदारों और एजेंसियों द्वारा प्रदान किया जाएगा। इन केंद्रों की स्थापना से क्षेत्र को अधिक सक्षम और कुशल जनशक्ति विकसित करने की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति हासिल करने में मदद मिलेगी।...////...