10-Apr-2022 09:14 PM
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गांधीनगर 10 अप्रैल (AGENCY) गुजरात के गांधीनगर में राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय (आरआरयू) में सीबीआई के जांच अधिकारियों के क्षमता निर्माण कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमें 20 सीबीआई अधिकारियों ने एक सप्ताह तक क्षमता निर्माण कार्यक्रम में भाग लिया।
आरआरयू की ओर से रविवार को यहां जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार सीबीआई और राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय ( आरआरयू) के बीच हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन के तहत विश्वविद्यालय ने चार से नौ अप्रैल के बीच सीबीआई के जांच अधिकारियों के क्षमता निर्माण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह 20 सीबीआई अधिकारियों का दूसरा बैच था जिन्होंने एक सप्ताह तक क्षमता निर्माण कार्यक्रम में भाग लिया। यह भारत के क्षमता निर्माण आयोग के मिशन को बढ़ावा देने का हिस्सा था। इससे पहले सीबीआई के 20 विधि अधिकारियों ने विश्वविद्यालय में क्षमता निर्माण कार्यक्रम के तहत प्रशिक्षण लिया था।
पहले दिन चार अप्रैल को उद्घाटन कार्यक्रम में कुलपति प्रो. (डॉ.) बिमल एन. पटेल और डॉ. जे.आर. गौर, एसएफआरएमएनएस, आरआरयू के निदेशक ने भाग लिया। प्रशिक्षण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी और निदेशक एसएफआरएमएनएस, डॉ जे आर गौर ने आरआरयू में प्रतिभागियों का स्वागत किया और उन्हें एक सप्ताह के प्रशिक्षण में विभिन्न स्कूलों की भूमिका से अवगत कराया। स्कूल के निदेशक ने अपराध जांच में जांच अधिकारियों की वैज्ञानिक क्षमताओं पर जोर दिया जो दुनिया भर में हो रहे वैज्ञानिक विकास के बराबर होना चाहिए। आरआरयू के फोरेंसिक, जोखिम प्रबंधन और राष्ट्रीय सुरक्षा स्कूल द्वारा क्षमता निर्माण कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
श्री बिमल एन. पटेल ने अपने उद्घाटन भाषण में विशेष रूप से वित्तीय, आर्थिक और सफेदपोश अपराधों के लिए अपराध जांच में तकनीकी रूप से प्रशिक्षित जनशक्ति की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने आईटीईसी कार्यक्रम के तहत आरआरयू विशेषज्ञों द्वारा मित्र देशों को दिए जा रहे प्रशिक्षण इनपुट पर भी प्रकाश डाला। कुलपति, आरआरयू चाहते थे कि प्रशिक्षण की जरूरतों का आकलन करने और उचित प्रशिक्षण इनपुट प्रदान करने के लिए जांच एजेंसियों और शिक्षाविदों के बीच सक्रिय जुड़ाव होना चाहिए।
कार्यक्रम के दूसरे दिन यानी पांच अप्रैल को, सीबीआई के विशेष निदेशक, प्रवीण सिन्हा, (आईपीएस) ने अधिकारियों के साथ बातचीत की और उन्हें बताया कि राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय द्वारा दिया जा रहा प्रशिक्षण उनके लिए बहुत उपयोगी होगा। श्री प्रवीण सिन्हा ने सीबीआई अधिकारियों से, चल रहे प्रशिक्षण से जुड़े हुए उनकी सलाह भी ली जिसका उपयोग आनेवाले दूसरे ट्रेनिंग में बताए जाने वाले विषयों में जोड़ा जायेगा। विश्वविद्यालय के कुलपति ने सीबीआई के स्पेशल डॉयरेक्टर के कहे हुए बात का मूल्यांकन करते हुए सीबीआई के जांच कार्य में उपयोग होने वाले विषयों से अवगत कराया और बताया की वो कैसे उनके अपराध जांच में सहयोग सिद्ध होगा।
कुलपति ने यह भी कहा कि प्रशिक्षुओं को उनकी शारीरिक फिटनेस के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है। स्कूल के निदेशक और पाठ्यक्रम के नोडल अधिकारी डॉ. जे.आर. गौर ने विशेष निदेशक सीबीआई को बताया कि कैसे प्रशिक्षुओं को विभिन्न मामलों में वैज्ञानिक साक्ष्य एकत्र करने के बारे में अधिक जानने के लिए केस स्टडीज से अवगत कराया जा रहा है।...////...