06-Jun-2025 12:00 AM
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राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने कहा कि सिकल सेल उन्मूलन प्रयासों में शोध और अनुसंधान पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए। चिकित्सा की विभिन्न पद्धतियों के द्वारा रोग उन्मूलन के लिए समन्वित प्रयासों की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि हमारे वनों में प्रचुर मात्रा में जड़ी-बूटियां उपलब्ध है। आवश्यकता शोध और अनुसंधान के द्वारा उनकी उनकी उपयोगिता के प्रमाणीकरण की है।
राज्यपाल श्री पटेल गांधी मेडिकल कॉलेज में आयोजित सिकलसेल सेंसेटाइजेशन कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम का आयोजन गांधी मेडिकल कॉलेज की एलुमिनाई द्वारा किया गया। इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री श्री राजेन्द्र शुक्ल भी मौजूद रहे।
राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने कहा कि सिकल सेल के उन्मूलन प्रयासों के लिए सबके साथ और सबके प्रयासों की एकजुट आवश्यकता है। प्रत्येक व्यक्ति अपने स्तर पर सिकल सेल की जागरुकता में सक्रिय सहभागिता करें। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि वर्ष 2047 तक सिकल सेल उन्मूलन के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए जागरुकता ही सबसे बड़ा टूल है। हम में से प्रत्येक व्यक्ति सिकल सेल के लक्षणों, उपचार और संभावनाओं के प्रति स्वयं जागरूक हो। फिर जागरूकता दूत के रूप में अपने आस-पास, और समुदाय को जागरूक करें।
राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि नई पीढ़ी को सिकल सेल एनीमिया से बचाने के लिए वर-वधू शादी के पूर्व सिकल सेल जेनेटिक कार्ड का मिलान ज़रूर करें। गर्भावस्था में जरूरी जाँचे कराए। संतान के जन्म के 72 घंटे के भीतर उनकी सिकल सेल एनीमिया की जाँच अवश्य करें। राज्यपाल श्री पटेल ने सिकल सेल से पीड़ित बच्चों एवं उनके परिजनों से आत्मीय मुलाक़ात की। उनकी कुशल क्षेम जानी। सभी को अच्छे ख़ान-पान, व्यायाम और पौष्टिक आहार लेने की सलाह दी।